दिल्ली में नागरिक सुरक्षा स्वयंसेवकों को हटाने का प्रस्ताव मंजूर | सरकार ने ही एलजीबीटी के पास फाइल दाखिल की थी, अब स्ट्रॉबेरी एससी में अपील करेगी

नई दिल्ली11 मिनट पहले

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सिविल डिफेन्स वालंटियर्स को हटाने के प्रस्ताव को उपराज्यपाल ने मंजूरी दे दी है।  जिसके बाद दिल्ली सचिवालय के बाहर वालंटियर्स हड़ताल कर रहे हैं।  - दैनिक भास्कर

सिविल डिफेन्स वालंटियर्स को हटाने के प्रस्ताव को उपराज्यपाल ने मंजूरी दे दी है। जिसके बाद दिल्ली सचिवालय के बाहर वालंटियर्स हड़ताल कर रहे हैं।

दिल्ली में हड़ताली सरकार और एलजी सिविल डिफेंस वॉलंटियर्स को हटाने का प्रस्ताव सामने आ रहे हैं। एलजी वीके सक्सेना ने शुक्रवार (27 अक्टूबर) को सिविल डिफेंस वालंटियर्स (सीडीवी) के सागर 1 नवंबर से समाप्त होने वाले प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। इसके बाद स्ट्राइकर सरकार ने कहा कि वह सर्वोच्च न्यायालय के खिलाफ फैसला सुनाएंगे।

असल में यह घटना सीएम के रूप में सामने आई है, जिसमें प्रशांत महासागर में जन्मे लोगों के लिए होम गार्ड के पद पर नियुक्त होने और बस का काम लेने की योजना के तहत मार्शल डिफेंस के ऑर्डर देने के आदेश कुछ हद तक बाद में आए हैं।

सीडीवी को निजीकरण के रूप में भर्ती करने पर विचार करें
एलजी सचिवालय के एक अधिकारी ने कहा कि सीडीवी की अवैध भर्ती और दस्तावेजों को समाप्त करने के प्रस्ताव को मंजूरी देते हुए एलजी ने भी स्पष्ट रूप से चिंता व्यक्त की है। सीएम ने निर्देश दिया है कि इस प्रक्रिया में अपनी नौकरी वाले सीवीडी को होम गार्ड के रूप में नियुक्त करने के बारे में विचार किया जाए। एलजी ने सीडीवी को पिछले छह से सात महीने से वेतन नहीं मिलने का वादा किया है और इस पर भी असंतोष जताया है। तुलना है. मामले से जुड़ी फाइलों को उनके पास जमा कर दिया गया था, जबकि इस पर मंत्री और मुख्यमंत्री निर्णय लेने के लिए पूरी तरह से अक्षम थे।

दिल्ली सरकार ने 2015 में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर बस मार्शल के रूप में सिविल डिफेंस वालंटियर्स की चिल्लाहट की थी।

दिल्ली सरकार ने 2015 में महिलाओं की सुरक्षा को लेकर बस मार्शल के रूप में सिविल डिफेंस वालंटियर्स की चिल्लाहट की थी।

सिविल डिफ़ेंस वॉलेंटियर्स की बेमियादी हड़ताल शुरू
एलजीऑफ़िस और दिल्ली सरकार के बीच रिलायंस के बीच सैकड़ों सिविल डिफेंस वालंटियर्स ने अपनी पीएम राशि की मांग को लेकर दिल्ली सचिवालय के बाहर बेमियादी हड़ताल भी शुरू कर दी है।

आप सरकार बोली-फैसले के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट जाएगी
इस घटना के बाद आप सरकार की ओर से न्यूज एजेंसी पीटीआई को बताया गया कि अगर एलजी सीवीडी की सेवाएं खत्म हो गईं, तो हम सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाएंगे। इनमें से कुछ सिविल डिफेंस वॉलेंटियर्स को बस मार्शल के रूप में स्थापित किया गया है। जो कागजात में महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने में अहम भूमिका निभाते हैं। हम महिलाओं की सुरक्षा पर कोई समझौता नहीं करेंगे।

एलजी ऑफिस की ओर से सरकार पर झूठ फैलाने का आरोप
वहीं दूसरी ओर एलजी ऑफिस के ऑफिसियल न्यूज एजेंसी पीटीआई से बात करते हुए आप सरकार पर झूठ फैलाने और चैनल जानकारी साझा करने का आरोप लगाया गया है। एक सूत्र में कहा गया है कि सीडीवी को लॉन्च करने का प्रस्ताव सीएम अरविंद केजरीवाल ने एलजी ऑफिस को भेजा था, जिसे एलजी ने मंजूरी दे दी थी। दिल्ली सरकार के मुख्यमंत्री सुप्रीम कोर्ट के खिलाफ क्या करेंगे? सीडीवी के समुद्र तट को समाप्त करने का प्रस्ताव 20 अक्टूबर को मिला था। हालाँकि, सरकारी सूत्र ने दावा किया है कि मुख्यमंत्री कार्यालय ने एलजी कार्यालय को ऐसा कोई प्रस्ताव नहीं भेजा था।

महिला यात्रियों की सुरक्षा के लिए बस मार्शल जरूरी
दिल्ली में सिविल डिफेंस वालंटियर्स को सरकारी पचासियों में असिस्ट रहते हैं। जो महिलाओं की सुरक्षा में अहम भूमिका निभाते हैं। मिर्ज़ापुर के बाद दिल्ली में महिलाओं के साथ पिछवाड़े में लूट, पट्टियाँ की कहानियाँ कम होती हुई देखी गई हैं। दिल्ली में सरकारी गाड़ी में महिला सुरक्षा में सुधार के लिए 2015 में परिवहन विभाग ने बस मार्शल योजना शुरू की थी।

दिल्ली सरकार के केंद्र से पोस्टिंग-पोस्टिंग विवाद
11 मई 2023 को सुप्रीम कोर्ट में 5 जजों की संविधान पीठ ने नियंत्रण का अधिकार दिल्ली सरकार को दे दिया था। साथ ही कहा कि एलजी सरकार की सलाह पर ही काम करेंगे। एक हफ्ते बाद 19 मई को केंद्र सरकार ने इस फैसले को बदल दिया और लिस्ट-पोस्टिंग का अधिकार एलजी को दे दिया। दिल्ली सेवा विधेयक (नेशनल कैपिटल टैरिटरी ऑफ दिल्ली अमेंडमेंट एक्ट) 3 अगस्त को कॉम में पारित हुआ था। 9 अगस्त को इसे सागर में पेश किया गया। वोट पक्ष में 131 और वोट पड़े और बिल पास हो गये।

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