जेके में आतंकवाद को पुनर्जीवित करने के पाकिस्तान के प्रयासों का मुकाबला करने के लिए भारतीय सेना ने ‘ऑपरेशन सर्वशक्ति’ शुरू की | राजौरी-पुंछ सेक्टर में सेना का ऑपरेशन सर्वशक्ति: जम्मू-कश्मीर में उग्रवादियों की आमद सुरक्षा गायबबल

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उत्तर46 मिनट पहले

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भारतीय सेना ने जम्मू-कश्मीर में ऑपरेशन सर्वशक्ति की शुरुआत की है।  भारतीय सेना में पीर पांजल माउंटेन रेंज के दोनों साथियों का साइंटिस्ट का खात्मा शामिल है।  - दैनिक भास्कर

भारतीय सेना ने जम्मू-कश्मीर में ऑपरेशन सर्वशक्ति की शुरुआत की है। भारतीय सेना में पीर पांजल माउंटेन रेंज के दोनों साथियों का साइंटिस्ट का खात्मा शामिल है।

जम्मू-कश्मीर में आतंकवादियों को मजबूत करने के लिए पाकिस्तान के मंसूबों को विफल करने के मकसद से भारतीय सेना ने ऑपरेशन सर्वशक्ति की शुरुआत की है। भारतीय सेना पीर पांजल माउंटेन रेंज के साइड एक्टिवेशन साइंटिस्ट का खात्मा लगाती है। इस ऑपरेशन को उधमपुर में सेना मुख्यालय और सेना की उत्तरी कमान की कड़ी निगरानी में शुरू किया गया है।

हाल ही में पाकिस्तान के कट्टरपंथियों के समूह (प्रवीण आतंकवादियों की ओर से संचालित होने वाले अंडकी समूह) ने पीर पंजाब रेंज के दक्षिण में विशेष रूप से राजौरी-पुंछ सेक्टर में आतंकवादियों को फिर से जिंदा करने की कोशिश की है।

पीर पंजाल में पांच महीने में हुई गैंगवार में करीब 20 भारतीय सैनिकों की जान गई है। सबसे बड़ा हमला 21 दिसंबर 2023 को गांव की गली में हुआ था, जिसमें 4 जवान शहीद हो गए थे।

सेना प्रमुख जनरल मनोज पेंडेज़ ने पिछले दिनों उत्तरी कमान के कमांडरों से मुलाकात की थी।

सेना प्रमुख जनरल मनोज पेंडेज़ ने पिछले दिनों उत्तरी कमान के कमांडरों से मुलाकात की थी।

सुरक्षा कर्मियों ने बताया- खुफिया तंत्र मजबूत कर रहे हैं
सिक्योरिटी सर्विसेज के अधिकारियों ने न्यूज एजेंसी एएनआई को बताया कि ऑपरेशन सर्वशक्ति पीर पंजाल रेंज के दोनों ओर से सेक्टर का सफाया करने के लिए ऑपरेशन शुरू हो गया है, जहां बिल्डर्स का चिनार कॉर्प्स और नगरोटा के व्हाइट नाइट कॉर्प्स ने भी अपने-अपने ऑपरेशंस को खत्म कर दिया है।

एजेंट ने यह भी बताया कि इस ऑपरेशन के तहत जम्मू-कश्मीर पुलिस, सीआरपीएफ, स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप और खुफिया तंत्र में सामूहिक काम शामिल है। खुफिया तंत्र को भी मजबूत करने की दिशा में कदम उठाए गए हैं। विशेष रूप से राजौरी-पुंछ सेक्टर में आतंकवादियों को पुनर्जीवित करने के लिए सभी मंसूबों को विफल कर दिया गया। राजौरी-पुंछ सेक्टर में और भी जवानों को भेजा जा रहा है।

ऑपरेशन सर्पविनाश की भविष्यवाणी पर होगा
ये ऑपरेशन सर्पविनाश के होने की उम्मीद है। ऑपरेशन सर्पविनैश 2003 में नरसंहार को ख़त्म करने की शुरुआत हुई थी। इस दौरान क्षेत्र में राक्षसी हथियार लगभग ख़त्म हो गए।

पिछले दिनों सेना के प्रमुख जनरल मनोज पेंडेज़ ने उत्तरी कमान के साथ कोर कमांडरों के साथ खतरनाक खतरे से वापसी की बातचीत की थी। सुरक्षा सुरक्षा ने एजेंसी को निर्देशित ऑपरेशन सर्वशक्ति पीर पंजाल माउंटेन रेंज के दोनों सिरों से किया था।

अमित शाह ने बैठक के बाद बनाया प्लान
राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल, सेना, गुप्तचर अमित शाह की एक सुरक्षा बैठक के तुरंत बाद सेंट्रल ऑपरेशन की योजना बनाई गई थी। उत्तरी सेना के कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल उपेन्द्र डियाडे ने जम्मू और कश्मीर में सेना के शीर्ष अधिकारियों के साथ सेना के खिलाफ कार्रवाई की बैठक की थी।

हमला थानामंडी-सूरनकोट रोड पर स्थित इलाके की गली (डीकेजी) में हुआ है।  यहां बड़ी संख्या में सुरक्षा बल मौजूद हैं।

हमला थानामंडी-सूरनकोट रोड पर स्थित इलाके की गली (डीकेजी) में हुआ है। यहां बड़ी संख्या में सुरक्षा बल मौजूद हैं।

सिद्धांत के अनुसार, 250-300 आतंकवादी भारत में घुसपैठ करने के लिए तैयार हैं
16 दिसंबर को बीएसएफ के एक वरिष्ठ सहयोगी ने सुरक्षा बलों के दस्तावेजों से जानकारी दी थी कि सीमा पाकिस्तान में 250 से 300 आतंकवादी तैनात किए गए हैं। ये जम्मू-कश्मीर में आतंकियों की फिराक में हैं। व्होटे ने बताया कि माइक्रोसॉफ्ट के लिए प्रस्ताव तैयार किया गया है। सीमा पार से किसी भी तरह की घुसपैठ की कोशिश को नाकाम कर दिया जाएगा।

विशेष के आईजी अशोक यादव ने आतंकियों को बताया कि हम (बीएसएफ) और सेना गठबंधन को नजर बनाए रखा गया है और हिरासत में लिया गया है। पिछले कुछ प्राचीन काल में सॉसेज और कश्मीर के लोगों के बीच के तत्वों में वृद्धि हुई है। अगर लोग हमारा सहयोग करें तो हम विकास के कौशल को बेहतर तरीके से आगे बढ़ा सकते हैं। पूरी खबर यहां पढ़ें…

पाकिस्तान सीमा पर कड़ी सुरक्षा के बावजूद भी आतंकियों के कब्जे वाली टेका फोर्सेज के लिए बड़ी चुनौती है।

पाकिस्तान सीमा पर कड़ी सुरक्षा के बावजूद भी आतंकियों के कब्जे वाली टेका फोर्सेज के लिए बड़ी चुनौती है।

जम्मू-कश्मीर में पिछला 7 दुश्मन…

पहली: 21 दिसंबर 2023 को राजौरी में 4 जवान शहीद हुए थे
यह हमला थानामंडी-सुरनकोट रोड की गली (डीकेजी) नाम के इलाके में हुआ। वर्चुअल ने घाट संलग्न सेना के दो समूहों पर हमला किया। ये गाड़ियां गाड़ियों को लेकर सुरनकोट और बफलियाज जा रहे थे, जहां 20 दिसंबर की रात को वैज्ञानिकों ने घेराबंदी और स्काउट अभियान शुरू किया था। इसी अभियान के लिए अतिरिक्त सुरक्षा बल भेजा जा रहा है।

दूसरी: 22 नवंबर 2023 को राजौरी में हुए हमलों में 5 जवान शहीद हो गए थे
22 नवंबर को जम्मू के राजौरी इलाके में 5 जवान शहीद हो गए थे। यह मस्टर 34 घंटे चला था, जिसमें पेस्टीसाइड ने दो इंजीनियरों को मारा था। डिफेंस पीआरओ ने बताया कि मारा गया एक साथी का नाम है। वह विदेशी नागरिक था। उसे पाक और पासपोर्ट पर ट्रेंड किया गया था। पूरी खबर यहां पढ़ें…

तीसरा: 17 नवंबर 2023 को 2 हमलावर, 6 कलाकार मारे गए
17 नवंबर को राजौरी और कुलगाम में दो अलग-अलग समर्थकों में 6 अपराधी मारे गए। पहला सहयोग 16 नवंबर को कुलगाम में शुरू हुआ जो 17 नवंबर तक चला। इसमें 5 कार्मिक मारे गए थे। इन सभी हाल में ही शामिल थी बैशाख किलिंग। दूसरा राजौरी में हुआ, जिसमें 1 साथी की हत्या कर दी गई। पूरी खबर पढ़ें…

चौथा: अक्टूबर 2023 में पुलिस इंस्पेक्टर की गोली मारकर हत्या
ग़रीब के अक्टूबर ईदगाह इलाके में एक आतंकवादी ने पुलिस इंस्पेक्टर को तीन गोलियां मारीं। उनके पेट, गर्दन और आँख में गोलियाँ लगी थीं। इंस्पेक्टर की पहचान मसरूर अली वानी के रूप में हुई थी। हमलों की जिम्मेदारी आतंकवादी संगठन टीआरएफ ने ली है। उस समय हमला हुआ, जब मसरूर वाणी स्थानीय वैज्ञानिकों के साथ क्रिकेट खेल रहे थे।

पाँचवाँ: सितंबर 2023 में 3 बस्तियाँ, 2 जवान शहीद हुए थे
13 सितंबर को जम्मू-कश्मीर में दो बदमाशों के साथ 3 साथी और दो जवान शहीद हो गए थे। शहीद जवानों में सेना के एक कर्नल, एक मेजर और पुलिस के एक डीएसपी शामिल थे। सीनियर ने सॉसेज़ पर सर्च ऑपरेशन के दौरान हमला किया था। इस दौरान दो गर्लफ्रेंड्स की भी मौत हो गई। यहां सर्चिंग के दौरान सेना के कुत्ते की भी मौत हो गई थी।

छठी: 9 अगस्त 2023 को पकड़े गए थे 6 दोस्त
15 अगस्त से पहले 6 साल की उम्र में रेज़ को गिरफ्तार कर लिया गया था। पहला मामला 9 अगस्त की रात का है, जहां कोकरनाग के एथलान गडोले में तीन बदमाश पकड़े गए। इस दौरान सेना के जवान समेत 3 लोग घायल हो गए। दूसरा मामला उरी का है, जहां सिक्योरिटी जर्नलिस्ट ने 3 ग़ैरमन्द पकड़े हैं। पूरी खबर पढ़ें…

सातवां: 6 अगस्त 2023 को तीन दोस्त मारे गए थे
6 अगस्त को भारतीय सेना और जम्मू-कश्मीर पुलिस ने संयुक्त ऑपरेशन में एलओसी के पास दो साज-सामान को मार गिराया था। ये आतंकी LoC के पास घुसपैठियों की कोशिश कर रहे थे। इसी दिन शाम को भी एक अन्य अपराधी को मारने की कोशिश की गई थी। पूरी खबर पढ़ें…

यह विजुअल आर्मी की ओर से जारी की गई है।  इसमें एलओसी के पास घुसपैठियों की कोशिशें जारी हैं।

यह विजुअल आर्मी की ओर से जारी की गई है। इसमें एलओसी के पास घुसपैठियों की कोशिशें जारी हैं।

दो साल में राजौरी-पुंछ बेल्ट में बड़े आतंकी हमले हुए

2021: अक्टूबर में हुए तीन बड़े हमले

11 अक्टूबर 2021: टेल जिले के सुरनकोट तहसील के चमरेर जंगल में सेना की मशीनरी के साथ मंगई हुई। इसमें एक जेसीओ समेत पांच जवान शहीद हो गए।

16 अक्टूबर 2021: पूंछ की मेंढार तहसील के भट्टा डुरियन इलाके में सेना और प्रशिक्षुओं के बीच में हुई। इसमें चार जवान समेत एक अन्य जेसीओ शहीद हो गए।

30 अक्टूबर 2021: राजौरी के नौशेरा सेक्टर में माइन ब्लास्ट में एक लेफ्टिनेंट और एक जवान की जान चली गई।

2022: अगस्त और दिसंबर में दो बड़े हमले

11 अगस्त 2022: राजौरी जिले के दारहल इलाके में परगल आर्मी कैंप पर हमला। इसमें पांच जवान शहीद हो गए जबकि दो फिदानों की सेना ने मार डाला।

18 दिसंबर 2022: राजौरी के अल्फा गेट के बाहर एक आतंकी हमले में दो नागरिकों की मौत हो गई।

18 दिसंबर 2022 को आतंकवादी हमलों में मृतकों का नाम कमल किशोर और सुरिंदर कुमार थे।

18 दिसंबर 2022 को आतंकवादी हमलों में मृतकों का नाम कमल किशोर और सुरिंदर कुमार थे।

2023: इस साल दस युवा शहीद हुए

1 जनवरी 2023: राजौरी के डांगरी गांव में दो विदेशी आतंकियों और आईईडी ब्लास्ट में अल्पसंख्यक समुदाय के सात लोग मारे गए। इनमें से दो नाबालिग थे।

20 अप्रैल 2023: टेल जिले के भट्टा डुरियन इलाके में स्थित टेल जिले में वैज्ञानिकों ने 30 सितंबर को हमला किया, जिसमें सेना के पांच जवान शहीद हो गए, जबकि एक जवान घायल हो गया।

5 मई 2023: राजौरी के कांडी में एक वैज्ञानिक ने आईईडी विस्फोट किया जिसमें पांच आर्मी पैरा कमांडो शहीद हो गए और एक मेजर घायल हो गया।

18 जुलाई 2023: टेल जिले के सुरनकोट तहसील के सिंधारा टॉप इलाके में चार व्यवसायों को मारा गया है।

तस्वीर 1 जनवरी 2023 की शाम डांगरी की है, जहां वैज्ञानिक ने अंडोधंध दवा की थी।

तस्वीर 1 जनवरी 2023 की शाम डांगरी की है, जहां वैज्ञानिक ने अंडोधंध दवा की थी।

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